ट्रेन में बम की सूचना पर हकलान रहे प्रशासनिक अधिकारी
औड़िहार जंक्शन पर ढाई घंटे रुकी रही ट्रेन
गाजीपुर। गोरखपुर से मुंबई के लोकमान्य तिलक टर्मिनस को जाने वाली 15018 काशी एक्सप्रेस में बम होने की खबर से रेल और प्रशासनिक अधिकारियों में हड़कंप मच गया। इस सूचना पर तत्परता दिखाते हुए ट्रेन को औड़िहार जंक्शन पर रोक कर उसके हर हिस्से की सघन तलाशी ली गई।
बताते चलें कि मंगलवार को गोरखपुर से मुंबई के लिए गोरखपुर लोकमान्य तिलक काशी एक्सप्रेस जब दुल्ल्हपुर रेलवे स्टेशन पहुंचने के करीब थी तभी किसी ने प्रयागराज कंट्रोल रूम को फोन कर इस ट्रेन में बम होने की सूचना दी। इस पर तत्काल प्रयागराज कंट्रोल ने इसकी सूचना जीआरपी दुल्लहपुर को दी। सूचना मिलने पर तत्काल जीआरपी प्रभारी राजकपूर सिंह द्वारा जखनिया रेलवे स्टेशन पर अलर्ट करते हुए ट्रेन मे चेकिंग शुरू करा दी।
इस दौरान रेल अधिकारियों द्वारा गाज़ीपुर पुलिस को सूचित कर दिया। ट्रेन के औड़िहार स्टेशन पहुंचने से पूर्व ही ज्वाइंट मजिस्ट्रेट रामेश्वर सुधाकर सब्बनवाड़ और पुलिस क्षेत्राधिकारी अनिल कुमार के नेतृत्व में आरपीएफ, जीआरपी और सिविल पुलिस की छह टीम गठित हो गई।
ट्रेन के औड़िहार जंक्शन के प्लेटफार्म नंबर छह पर पहुंचते ही डाग स्क्वायड टीम, आरपीएफ, जीआरपी व सिविल पुलिस की टीमों ने, बगैर किसी को सूचना दिए ही, ट्रेन के बाइस बोगियो में सतर्कता के साथ सघन चेकिंग आरम्भ कर दिया। ट्रेन में बम की सूचना पर अपर जिलाधिकारी दिनेश कुमार, सैदपुर ज्वाइंट मजिस्ट्रेट रामेश्वर सुधाकर, अपर पुलिस अधीक्षक नगर ज्ञानेंद्र कुमार के साथ ही साथ वाराणसी परिक्षेत्र के असिस्टेंट कमांडर एनएम यादव व अन्य अधिकारी औड़िहार रेलवे स्टेशन पर पहुंच गए। जीआरपी, आरपीएफ, सिविल पुलिस की स्वान टीम और बम बीडीएस दस्ता द्वारा ढाई घंटे तक ट्रेन की सघन तलाशी की गई। इस दौरान ट्रेन में बैठे सभी यात्रियों वको ट्रेन से नीचे उतार कर उनकी व उनके सामानो की चेकिंग की गई लेकिन कहीं किसी प्रकार की कोई संदिग्ध वस्तु नहीं मिली और ट्रेन में बम की सूचना झुठी निकलने पर ट्रेन लगभग तीन घंटे की देरी से करीब ढाई बजे वाराणसी स्टेशन के लिए निकली। अब प्रशासन उस व्यक्ति का पता लगाने में लग गया है जिसने झूठी सूचना दी। पुलिस उसका पता लगाकर उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने में जूट गई है।
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