कामयाबी ! पीएसएलवी-सी 44 सैटेलाइट हुआ प्रक्षेपित

हैदराबाद(आन्ध्रप्रदेश),25 जनवरी 2019। रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन के सैटेलाइट पीएसएलवी-सी44 का प्रक्षेपण आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर से इसरो ने कल 24 जनवरी की देर रात 11.37 बजे किया। ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान (पीएसएलवी)-सी 44 रॉकेट से दो सैटेलाइट कलामसैट पेलोड और माइक्रोसेट-आर उपग्रह को अंतरिक्ष में प्रक्षेपित करेगा।
बताते चलें कि कलामसैट उपग्रह का नाम पूर्व राष्ट्रपति और वैज्ञानिक डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम के नाम पर रखा गया है। इसमें कलामसैट एक पेलोड है, जिसे छात्रों और स्पेस किड्स इंडिया ने मिलकर विकसित किया है। इसके अलावा दूसरा उपग्रह माइक्रोसेट-आर एक इमेजिंग उपग्रह है जिसे इसरो और डीआरडीओ के द्वारा अपने ऑपरेशन के लिए प्रयोग किया जायेगा।
ज्ञातव्य है कि श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर से बुधवार शाम सात बजकर 37 मिनट पर काउंटडाउन आरम्भ हुआ और प्रक्षेपण के नियत समय कल गुरुवार की रात 11 बजकर 37 मिनट पर प्रक्षेपण किया गया।
पीएसएलवी-सी44 उड़ान भरने के लगभग 14 मिनट बाद इमेजिंग सैटेलाइट माइक्रोसैट आर को यह 277 किलोमीटर की ऊंचाई पर अलग हुआ। अलग होने के बाद यह लगभग 103वें मिनट में 450 किलोमीटर की ऊंचाई पर पहुंचकर काम शुरू कर देगा। रॉकेट अपने चौथे चरण में कलामसैट को अत्यधिक ऊंचाई वाली कक्षा में स्थापित करेगा, जहां से वह परीक्षण कार्यों को पूर्ण करेगा।

अपडेट – प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान (पीएसएलवी) के सफल प्रक्षेपण के लिए इसरो को बधाई दी। प्रधानमंत्री ने कहा, पीएसएलवी के एक और सफल प्रक्षेपण के लिए हमारे अंतरिक्ष वैज्ञानिकों को हार्दिक बधाई। इस प्रक्षेपण ने भारत के प्रतिभाशाली छात्रों द्वारा निर्मित कलामसैट को कक्षा में स्‍थापित कर दिया है। इस प्रक्षेपण के साथ ही भारत सूक्ष्म-गुरुत्वाकर्षण संबंधी प्रयोगों के लिए एक कक्षीय प्‍लेटफॉर्म के रूप में एक अंतरिक्ष रॉकेट के चौथे चरण का उपयोग करने वाला पहला देश बन गया है।

Views: 45

Leave a Reply