तेजस! हाईस्पीड ट्रेन की रफ्तार अब 200 किमी प्रति घंटे….

नई दिल्ली, 15 जून 2018। यात्रियों की सुबिधा हेेेतु भारतीय रेल ने देश में हाईस्पीड ट्रेन संचालित करने की योजना बना ली है। उम्मीद है कि शीघ्र ही अत्याधुनिक सुविधाओं से भरी 12 डिब्बों वाली तेजस 200 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से रेलवे ट्रैक पर दौड़ती नजर आएगी। बताया गया है कि चीन, स्वीडन, जर्मनी और रूस की तर्ज पर भारतीय रेल ने बिहार के मधेपुरा में 12 हजार हॉर्सपावर से ज्यादा क्षमता धारक रेल इंजन का निर्माण पूर्ण कर लिया है तो पंजाब के कपूरथला रेल कोच फैक्टरी (आरसीएफ) में 12 डिब्बों की देश की पहली रैक का निर्माण भी हो चुका है। इसके निर्माण में 39 करोड़ की लागत आई है। आरसीएफ के इंजीनियरों ने शक्तिशाली तेजस इंजन के लिए 12 डिब्बे तैयार किए हैं जो सुरक्षा और अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस है। उत्तर रेलवे इसी महीने दिल्ली-चंडीगढ़ रूट पर शताब्दी ट्रेन के डिब्बों को हटाकर इस नई तेजस रैक को उतारने की योजना बना रहा है। उत्तर रेलवे के अधिकारियों के अनुसार भविष्य में सभी शताब्दी ट्रेनों के डिब्बों को हटाकर तेजस के इस नए कोच से बदल दिया जाएगा। इससे पहले मुंबई से गोवा के रूट पर तेजस एक्सप्रेस चल रही है, जिसकी अधिकतम स्पीड 180 किमी है। इस ट्रेन से पूरे डिब्बे साउंड प्रूफ तथा सभी दरवाजे ऑटोमेटिक हैं। इसके अलावा डिब्बों में वाई-फाई, सीट के पीछे टच स्क्रीन एलईडी, स्मोक डिटेक्टर, सीसीटीवी आदि भी लगेेे होंगे। वीनीशन विंडो आकार में बड़ी होगी और बेहतर दृश्य, धूप से बचाव के लिए लगे पर्दे पॉवर से चलेंगे। ट्रेन में बायो वैक्यूम टॉयलेट, इंगेजमेंट बोर्ड, हैंड ड्रायर की सुविधा मुहैया कराई गई है। एक्जीक्यूटिव क्लास में सीटों को काफी आरामदेह बनाया गया है। सीट के पीछे सिर टिकाने के लिए हेडरेस्ट तो पैरों के लिए फूटरेस्ट दिए गए हैं। स्टेशनों सम्बन्धित तथा अन्य दूसरी सूचनाएं माइक के अलावा एलईडी पर भी मिलेगी।
कोच में तेजस यानी सूर्य के नारंगी और पीले रंग की ही इनडोर इंटीरियर विनाइल लगाई गई है। इसकी सीट, छत का भी निर्माण नारंगी और पीले रंग की विदेशी स्पॅाज और फेब्रिक से तैयार किया गया है। कोच में 56 लोगों के बैठने की क्षमता के साथ एक एग्जीक्यूटिव एसी चेयर कार होगी और प्रत्येक बोगी में 78 सीट के साथ 12 एसी चेयर कार मौजूद होंगी।

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