विद्युत हाइटेंशन लाइन का तार टूट कर स्कूल परिसर में गिरा, हादसा टला

गाज़ीपुर। विद्युत विभाग की लापरवाही से जिले में एक बार फिर हादसा होते होते बच गया।

       घटना शिक्षा क्षेत्र सादात के प्राथमिक विद्यालय कबीरपुर की है, जहां गुरुवार को करीब सवा दो बजे एक बड़ा हादसा टल गया। स्कूल समय के दौरान विद्युत के 440 वोल्ट का विद्युत प्रवाहित तार अचानक टूटकर विद्यालय परिसर में ही गिर पड़ा। अचानक तार टूट कर गिरने से स्कूल व बच्चों में में हड़कंप मच गया।

      संयोग अच्छा रहा कि कक्षा संचालित होने की वजह से बच्चे कमरे के अंदर अध्ययनरत थे, वरना बीते 11 मार्च को जनपद के मरदह थाना क्षेत्र के महाहर धाम के समीप, विद्युत हाईटेंशन लाइन का तार बस पर छू जाने की वजह से जहां बस आग का गोला बन गई और पांच लोग जल मरे और एक दर्जन लोग झुलसने की घटना की पुनरावृत्ति भी हो सकती थी।

          विद्युत तार के गिरते ही अध्यापकों ने सतर्कता से बच्चों को दूर रखा वहीं तत्काल इसकी सूचना खण्ड शिक्षा अधिकारी, ग्राम प्रधान और बिजली विभाग के कर्मचारी को दी। सूचना पाकर विद्युत लाइन बंद की गयी। 

        इस बाबत प्रभारी प्रधानाध्यापक तेजेन्द्र यादव एवं सहायक अध्यापक सुनील यादव ने बताया कि प्राथमिक विद्यालय कबीरपुर के प्रांगण में ही ट्रांसफार्मर लगा हुआ है, जिसका तार मेन गेट से विद्यालय परिसर होते हुए बाहर जाता है। अनेकों बार की शिकायतों और पत्राचार के बावजूद भी विभागीय अधिकारियों के कानों पर जूं नहीं रेंगी। आज तक विद्यालय के ऊपर से गुजर रहे बिजली के तारों को हटाया नहीं गया है, जिससे प्रतीत होता है कि जिम्मेदार अधिकारी किसी बड़ी घटना के होने का इंतजार कर रहे हैं। 

       उन्होंने बताया कि स्कूल अवधि के दौरान गुरुवार को अचानक तार टूटकर नीचे गिर गया, जिसमें विद्युत प्रवाहित होने से ट्रांसफार्मर के आसपास और परिसर में कई जगह घास फूस जलने लगा और वहां हड़कंप मच गया। बिजली के तार के ठीक नीचे से ही विद्यालय के शौचालय, पानी पीने के नल पर जाने के लिए रास्ता है। यह तो संयोग अच्छा रहा कि एक भी बच्चे बाहर नहीं थे, अन्यथा बड़ी घटना का सामना करना पड़ता। 

       विडंबना तो यह है कि ऐसी शिकायतों को लेकर बिजली विभाग के अधिकारी गंभीर नहीं हैं। बानगी के रूप में देखें कि स्कूल परिसर में विद्युत प्रवाहित तार टूटकर गिरने की सूचना के बाद आपूर्ति तो बंद कर दी गई, लेकिन विद्यालय बंद होने तक कोई कर्मचारी तार हटाने हेतु नहीं पहुंचा। लगता है कि विभाग के जिम्मेदार अधिकारी किसी बड़ी घटना के इंतजार में हैं, जिन्हें तार के टूटकर गिरने की घटना से कोई फर्क नहीं पड़ता।

       बाद में अवर अभियन्ता राघवेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि टूटकर गिरे तार को हटा दिया गया है। अगले दिन इसके स्थान पर केबिल लगाया जाएगा। उधर सैदपुर के अधिशाषी अभियंता आशीष कुमार चौहान ने बताया कि विद्यालय परिसर के ऊपर से गुजर रहे बिजली के तार को हटाकर एक किनारे से केबिल लगाया जाएगा। उन्होंने बताया कि अन्य जगहों के विद्यालय के ऊपर से गुजर रहे तार की जगह केबिल लगाने की प्रक्रिया जल्द ही अमल में लाई जाएगी।

Visits: 417

Leave a Reply