छुट्टे पशुओं से बर्बाद हो रही किसानों की फसल

गाजीपुर। छुट्टा पशुओं के लिए किसानों के खेत अब रात्रिकालीन चरागाह में परिवर्तित होने लगे हैं और किसान अपनी फसल को बर्बाद होते देख अपना माथा पीट सरकार को कोस रहे  हैं। किसानों का कहना है कि लाख कवायद के बाद भी आज तक किसानों को छुट्टा पशुओं से निजात दिलाने में सरकार पूरी तरह असफल रही है। बेबस किसान खेतों में अपनी लागत और मेहनत की गाढ़ी कमाई को छुट्टा पशुओं से नष्ट होते देख अपना माथा पीट रहे हैं।

       कहने को सरकार द्वारा छुट्टा पशुओं को पकड़ने का तुगलकी फरमान जारी होता रहता है, पर जमीनी हकीकत यह है कि गांवों के खेतों में आज भी छुट्टा पशुओं की भरमार है। रात्रि में इनके झुण्ड खेतों में घुसकर खड़ी फसलों को खाकर और रौंदकर नष्ट कर रहे हैं। किसान दिन रात मेहनत करके अपनी फसलों की रखवाली  कर तो  रहे हैं फिर भी भारी भरकम पशुओं का झुंड किसानो की मेहनत पर पानी फेर रहे हैं।  सावधानी हटते ही हरी भरी फसल बर्बादी की भेंट चढ़ जा रही है। जखनियां तहसील क्षेत्र के हंसराजपुर, नवपुरा, छपरी, सिखड़ी, खड़ौरा, मुड़ियारी, सोनबरसा, खताहपुर पड़री,सुल्तानीपुर,चकरहम इत्यादि गांवों में छुट्टे आवारा पशुओं के आतंक से किसान परेशान हैं। छुट्टे आवारा पशुओं से फसलों की बर्बादी  इस कदर चरम पर है कि दर्जन भर से ऊपर पशुओं के समूह देखे जा सकते हैं।

          मिली जानकारी के अनुसार बर्बादी से तंग गांव के अनेकों किसानों ने सरकार द्वारा जारी हेल्पलाइन नंबर 1076 पर काल करके शिकायत तो दर्ज कराया है परन्तु कोई संतोषजनक हल‌ नहीं होने से किसान काफी चिंतित हैं। गौरतलब हो कि किसानों की कड़ी मेहनत और  लागत किसी से छिपी नहीं है। खेती में अथक परिश्रम और मंहगी लागत बेकार होते देख  सरकार के प्रति किसानों में रोष है और सबके सब सरकार  को कोस रहे हैं। किसान सरकार के प्रति अपनी नाराज़गी दर्ज कराते हुए छुट्टे आवारा पशुओं से निजात दिलाने की मांग की है।

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