अपराध निरोधक समिति ने जिला कारागार का किया निरीक्षण

गाजीपुर। उत्तर प्रदेश अपराध निरोधक समिति लखनऊ के चेयरमैन डॉ उमेश शर्मा के निर्देशानुसार प्रदेश संगठन सचिव / जेल पर्यवेक्षक संजय श्रीवास्तव व अपराध निरोधक समिति के सदस्यों द्वारा सोमवार को जिला कारागार का निरीक्षण किया गया।
बताते चलें कि उत्तर प्रदेश अपराध निरोधक समिति जेल मैनुअल के अंतर्गत कार्य करती है,
जिसके मुख्य संरक्षक राज्यपाल होते हैं। यह समिति समय समय पर जेल,बाल सुधार गृह व
वृद्धाश्रम आदि का निरीक्षण करके शासन को रिपोर्ट भेजती है।
अपराध निरोधक समिति द्वारा बताया गया कि उन्होंने जिला जेल व जेल अस्पताल का निरीक्षण किया, जिसमें कुल 906 कैदी है।
जिसमें 826 पुरुष कैदी व 32 महिला कैदी तथा 48 अल्प वयस्क कैदी हैं। वहीं जिला कारागार में
महिला बंदियों के साथ एक बच्चा निरुद्ध है। पैरोल से वापस आए कैदियों की संख्या पांच है।
उल्लेखनीय है कि जिला जेल में 397 कैदी की क्षमता है जिसके सापेक्ष 906 कैदी बंद है।
कमेटी ने बताया कि कैदियों को सुबह नाश्ते में ब्रेड चाय व दोपहर भोजन में रोटी,चावल, अरहर की दाल, आलू पालक की सब्जी दी गई।
डिप्टी जेलर कमल चंद ने बताया कि जेल के अंदर आने वाले लोगों को गहन चेकिंग करते हुए कोविड-19 के निर्देशों का पालन करते हुए सभी को सैनिटाइज करके ही अंदर
प्रवेश करने दिया जाता है। जेल में 30 सीसीटीवी कैमरे लगे है जो सभी काम करते पाए गए।
बताया गया कि जेल की सबसे बड़ी समस्या बाउंड्री वॉल की है जो मात्र 12 फीट ऊंची और जर्जर है। चारदीवारी की स्थिति सुधारने के लिए कई बार पत्र लिखा जा चुका है।
जेल के नियमानुसार, जेल में 4 डिप्टी जेलर होने चाहिए जबकि यहां तैनाती केवल 3 डिप्टी जेलर की है तो वहीं मानक के अनुसार 68 सिपाही तैनात होना चाहिए जिसके सापेक्ष केवल 42 की नियुक्ति है।
जेल का निरीक्षण करने वाली टीम में उत्तर प्रदेश अपराध निरोधक समिति के प्रदेश संगठन सचिव संजय श्रीवास्तव, जोन सचिव मयंक कुमार सिंह,जेल पर्यवेक्षक अभिषेक सिंह, शेरशाह सचिव भ्रष्टाचार उन्मूलन, विशाल चौरसिया संगठन सचिव व अनुज अग्रवाल मौजूद रहे।

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